सफलता के मायने आपकी किसी भी खूबी से तय नहीं होते।

 सफलता काबलियत, हुनर, टैलेंट, गुण या आप कितने स्मार्ट है इस बात से तय नहीं होती। 

सफलता के मायने आपकी किसी भी खूबी से तय नहीं होते। 

सफलता इस बात पर निर्भर करती है कि आप कितने समय तक मैदान में टिके रहने के लिए तैयार है। चाहे वो जिंदगी की गेम है , जॉब की, बिज़नेस की, राजनीती की या फिर कोई और। 

अगर आप अपनी आखिरी साँस तक टिके रहने के लिए तैयार है तो सफलता आपका इंतज़ार कर रही है। अगर आप उस वक़्त भी मैदान में टिके रहने के लिए तैयार है जब आपकी जीत के हर रास्ते बंद हो जाते है। जहाँ आपको लगता है कि सब कुछ खत्म हो गया। 

आप अगर तब भी उठने के लिए तैयार है जब आपके शरीर का हर हिस्सा उठने से मना कर रहा हो। जब आप पूरी तरह टूट चुके हो। तब सफलता आपके सबसे पास होती है। 


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